विकास दुबे एनकाउंटर केस पर आज सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई जिस दौरान कोर्ट ने इस बात पर हैरानी जताई कि विकास दुबे पर इतने मुकदमे दर्ज होने के बाद भी उसे जमानत क्यों दी गई। कोर्ट ने यूपी सरकार से रिकॉर्ड तलब किया और कहा कि विकास दुबे पर गंभीर अपराध के अनेक मुकदमे दर्ज होने के बाद भी वह जेल से बाहर था। यह सिस्टम की विफलता है।
सुनवाई के दौरान सरकार की तरफ से एडवोकेट तुषार मेहता ने मुठभेड़ को सही बताया। हालांकि कोर्ट की तरफ से कहा गया कि राज्य सरकार कानून व्यवस्था बनाने के लिए जिम्मेदार है और इसके लिए ट्रायल होना चाहिए था। साथ ही कोर्ट ने कहा है कि जांच कमेटी में पूर्व जज और एक पुलिस अधिकारी हमारे होंगे। उत्तर प्रदेश सरकार जांच कमेटी के पुनर्गठन पर सहमत भी हो गई है।
विकास दुबे एनकाउंटर केस पर आज सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई जिस दौरान कोर्ट ने इस बात पर हैरानी जताई कि विकास दुबे पर इतने मुकदमे दर्ज होने के बाद भी उसे जमानत क्यों दी गई। कोर्ट ने यूपी सरकार से रिकॉर्ड तलब किया और कहा कि विकास दुबे पर गंभीर अपराध के अनेक मुकदमे दर्ज होने के बाद भी वह जेल से बाहर था। यह सिस्टम की विफलता है।
सुनवाई के दौरान सरकार की तरफ से एडवोकेट तुषार मेहता ने मुठभेड़ को सही बताया। हालांकि कोर्ट की तरफ से कहा गया कि राज्य सरकार कानून व्यवस्था बनाने के लिए जिम्मेदार है और इसके लिए ट्रायल होना चाहिए था। साथ ही कोर्ट ने कहा है कि जांच कमेटी में पूर्व जज और एक पुलिस अधिकारी हमारे होंगे। उत्तर प्रदेश सरकार जांच कमेटी के पुनर्गठन पर सहमत भी हो गई है।