इलाहाबाद हाईकोर्ट ने धर्मांतरण कर शादी करने के मामले की सुनवाई में कहा, "हर व्यक्ति को पसंद के इंसान के साथ रहने का अधिकार है...चाहे वह किसी धर्म का हो...यह व्यक्ति के 'जीवन के अधिकार' और 'निजी स्वतंत्रता' में अंतर्निहित है।" बतौर कोर्ट, "...स्वेच्छा से साथ रहने वाले दो बालिगों के रिश्ते पर परिवार या सरकार आपत्ति नहीं कर सकते।"
इलाहाबाद हाईकोर्ट ने धर्मांतरण कर शादी करने के मामले की सुनवाई में कहा, "हर व्यक्ति को पसंद के इंसान के साथ रहने का अधिकार है...चाहे वह किसी धर्म का हो...यह व्यक्ति के 'जीवन के अधिकार' और 'निजी स्वतंत्रता' में अंतर्निहित है।" बतौर कोर्ट, "...स्वेच्छा से साथ रहने वाले दो बालिगों के रिश्ते पर परिवार या सरकार आपत्ति नहीं कर सकते।"